झमाझम बारिश से जलमग्न हुआ पूरा शहर

झमाझम बारिश से जलमग्न हुआ पूरा शहर

ग्वालियर। भीषण उमस और गर्मी झेल रहे शहरवासियों को आखिरकार मंगलवार दोपहर में आधा घंटे से अधिक समय तक हुई जोरदार बारिश ने राहत दी है। इस वर्षा से पूरा शहर जलमग्न हो गया। इस दौरान 18.5 मिमी बारिश दर्ज हुई। शहर के विभिन्न हिस्सों और सड़कों पर पानी भर गया। इससे पहले 25 अगस्त को हल्की वर्षा हुई थी। जन्माष्टमी की पूर्व बेला में हुई इस बारिश से अनुमान लगाया जा रहा है कि वर्षा का ये सिलसिला कुछ दिन जारी रह सकता है। मंगलवार दोपहर करीब 2 बजे अचानक घने काले बादलों ने शहर को अपने आगोश में ले लिया। इसके कुछ समय बाद बूंदाबांदी होते-होते जोरदार बारिश होने लगी।

आधा घंटे से अधिक समय तक जोरदार वर्षा होने से लोगों को भीषण उमस और गर्मी से कुछ राहत अवश्य मिली है। इस दौरान शहर के विभिन्न क्षेत्रों में सड़कों और गलियों में पानी भर जाने से लोगों को परेशानी का सामना भी करना पड़ा, लेकिन पानी का इंतजार कर रहे किसानों के चेहरों पर खुशी दिखाई दी। शहर में मंगलवार को हुई 18.5 मिमी वर्षा मिलाकर अब तक 558.5 मिमी बारिश हो चुकी है। इस वर्षा से शाम को वातावरण में नमी की मात्रा 100 प्रतिशत तक पहुंच गई। मौसम विभाग के अनुसार बुधवार को भी गरज-चमक के साथ वर्षा होने की संभावना है।

निगम मुख्यालय के सामने चेंबर हुआ ओवरफ्लो: सीवर को लेकर सीएम हेल्पलाइन पर शिकायतों की भरमार के बाद भले ही समस्या हल नहीं हो पाई हो, लेकिन बारिश के चलते निगम मुख्यालय के गेट पर स्थित चेंबर को ओवरफ्लो होते देखा गया। जबकि निगम अधिकारियों ने चेंबर के ओवरफ्लो होने पर ध्यान ही नहीं दिया।

बारिश ने सड़कों को बना दिया ताल

बारिश ने शहर की सड़कों को ताल में बदल दिया। बारिश के चलते शहर के ज्यादातर चौराहों से लेकर मुख्य मार्गों व निचली बस्तियों में पानी भर गया। जिसके कारण लोगों को वाहन धीमी रμतार में निकालना पड़े। मंगलवार की दोपहर लगभग 3.15 बजे के बाद आसमान पर छाए बादलों से जोरदार बारिश की आमद हुई। जिसके बाद लक्ष्मीबाई समाधि के सामने मुख्य मार्ग, बसंत विहार, गांधी नगर, डिफेंस गेट, स्टेशन विजय स्तंभ चौराहा, पाताली हनुमान, राजमाता सिंधिया चौराहा, मानसिंह की प्रतिमा से निगम मुख्यालय मार्ग, पड़ाव चौराहा,शिंदे की छावनी मार्ग, कंपू स्थित बटालियन मुख्य मार्ग, बहोड़ापुर स्थित आरआर टावर के सामने मुख्य मार्ग सहित अनेकों स्थानों पर सड़कें तालाब में परिवर्तित हो गर्इं। इसके अलावा शहर के गली-मोहल्लों से लेकर कॉलोनियों की अधिकांश सड़कों पर हुए जलभराव से लोगों का अपने घरों से निकलना मुश्किल हो गया।