कर्नाटक में दोबारा चुनाव लड़ रहे 89% विधायकों की दौलत औसतन 67% बढ़ी
नई दिल्ली। कर्नाटक में 10 मई को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए जारी प्रचार सोमवार शाम थम गया। इस चुनाव में दोबारा चुनाव लड़ रहे 189 विधायकों में से 168 यानी 89 फीसदी विधायकों की संपत्ति में 1 फीसदी से लेकर 1188 फीसदी तक का इजाफा हुआ है। यानी, महज 21 विधायकों की संपत्ति कम हुई है।
एडीआर और कर्नाटक इलेक्शन वॉच ने कर्नाटक विधानसभा चुनाव 2023 में फिर से चुनाव लड़ने वाले 189 विधायकों के हलफनामों का विश्लेषण किया। जिन 21 विधायकों की संपत्ति कम हुई है। उनकी दौलत में 0.36 से लेकर 68 फीसदी तक की कमी आई है। 2018 में निर्दलीय सहित विभिन्न दलों द्वारा मैदान में उतारे गए इन 189 विधायकों की औसत संपत्ति 29.18 करोड़ रु. थी। अब 2023 के चुनावों में इन 189 विधायकों की संपत्ति 48.59 करोड़ रु. हो गई है। 2018 और 2023 के कर्नाटक विधानसभा चुनावों के बीच इन विधायकों की औसत संपत्ति वृद्धि 19.41 करोड़ रु. यानी 67 फीसदी रही है। इन पांच विधायकों की दौलत में सबसे ज्यादा इजाफा: कनकपुरा विधानसभा सीट से कांग्रेस के डीके शिवकुमार की संपत्ति में सबसे ज्यादा वृद्धि दर्ज की गई है। 2018 में उनकी संपत्ति 840.01 करोड़ रु. थी जो 2023 में बढ़कर 1413.80 करोड़ रु. हो गई।
शांतिनगर सीट से कांग्रेस के एन.ए. हारिस की संपत्ति 2018 में 190.24 करोड़ रु. से बढ़कर 439.20 करोड़ रु. हो गई है। इस सूची में तीसरे नंबर पर राजराजेश्वरनगर निर्वाचन क्षेत्र से भाजपा के मुनिरत्न हैं। उनकी संपत्ति 2018 में 89.13 करोड़ रु. थी जो बढ़कर 293.60 करोड़ रु. हो गई।
चौथा नंबर कांग्रेस के एस.एन. सुब्बारेड्डी का है। 2018 में बागेपल्ली विधायक की संपत्ति 157 करोड़ थी जो अब 313 करोड़ हो गई है। सबसे ज्यादा संपत्ति बढ़ने के मामले में हलियाल सीट से कांग्रेस के देशपांडे रघुनाथ पांचवें स्थान पर हैं। 2018 में रघुनाथ की दौलत 148 करोड़ थी जो बढ़कर 215 करोड़ रुपए हो गई है।
अमीर हुए भाजपा विधायक
2018 के विधानसभा चुनावों में भाजपा के 95 विधायकों की औसत संपत्ति 20 करोड़ थी जो बढ़कर 35 करोड़ हो गई है। कांग्रेस के 66 विधायकों की औसत संपत्ति 43 करोड़ से बढ़कर 73 करोड़ पहुंच गई। जेडीएस के 26 विधायकों की औसत संपत्ति 2018 में 24 करोड़ थी। जो अब बढ़कर 36 करोड़ रु. हो गई है। बसपा के एक विधायक की संपत्ति 2018 में 20 करोड़ थी जो 2023 में बढ़कर 40 करोड़ हो गई।
इन विधायकों की दौलत घट गई
एक ओर जहां कई विधायकों की संपत्ति में कई गुना इजाफा हुआ है तो कुछ ऐसे भी हैं जिनकी दौलत बीते पांच वर्षों में घट गई। इस मामले में पहला स्थान गोकक सीट से भाजपा के जरकीहोली रमेश लक्ष्मणराव का है। 2018 में उनकी संपत्ति 96 करोड़ थी जो घटकर 49 करोड़ रह गई है। इसके बाद होसाकोटे सीट से कांग्रेस के शरथ कुमार बचेगौड़ा का नाम है। पिछले चुनाव में उनकी दौलत 138 करोड़ थी जो अब कम होकर 107 करोड़ रुपए पर आ गई। इस सूची में तीसरा नाम बेलगाम ग्रामीण सीट से कांग्रेस के लक्ष्मी आर. हेब्बलकर का है। पिछले चुनाव में उनकी दौलत 28 करोड़ थी जो अब घटकर 13 करोड़ रह गई है। हुनसुर सीट से कांग्रेस के एच.पी.मंजूनाथ के पास 32 करोड़ की संपत्ति थी जो अब कम होकर 22 करोड़ पर आ गई। इस मामले में पांचवां स्थान श्रीनिवासपुर सीट से कांग्रेस के के.आर. रमेश कुमार का है। 2018 में उनकी संपत्ति 13 करोड़ थी जो इस वक्त घटकर 4 करोड़ रुपए रह गई है।
189 विधायक फिर चुनाव मैदान में
- बीते पांच वर्षों में 21 विधायकों की संपत्ति 0.36 प्रतिशत से 68 प्रतिशत तक घट गई
- विधानसभा का चुनाव लड़ रहे 168 विधायकों की औसत संपत्ति 29.18 करोड़ रुपए से बढ़कर 48.59 करोड़ रुपए हुई
- जिन विधायकों की संपत्ति में सबसे ज्यादा इजाफा हुआ उनमें टॉप पांच में से चार कांग्रेस के
किस पार्टी के विधायक कितने और अमीर हुए
पार्टी कुल विधायक 2023 में औसत संपत्ति 2018 में औसत संपत्ति
भाजपा 95 35 करोड़ 20 करोड़
कांग्रेस 66 73 करोड़ 43 करोड़
जेडीएस 26 36 करोड़ 24 करोड़
बसपा 01 40 करोड़ 20 करोड़
निर्दलीय 01 14 करोड़ 11 करोड़
किन विधायकों की संपत्ति पहले की तुलना में घटी
विधायक सीट 2023 में संपत्ति 2018 में संपत्ति
केआर रमेश कुमार (कांग्रेस) श्रीनिवासपुर 4 करोड़ 13 करोड़
एचपी मंजूनाथ (कांग्रेस) हुनसुर 22 करोड 32 करोड़
लक्ष्मी आर हेब्बलकर (कांग्रेस) बेलगाम ग्रामीण 13 करोड़ 28 करोड़
शरथ कुमार बचेगौड़ा (कांग्रेस) होसाकोटे 107 करोड़ 138 करोड़
जरकीहोली रमेश (भाजपा) गोकक 49 करोड़ 96 करोड़