देश की 75 वेटलैंड साइट के प्रतिनिधि और प्रकृति प्रेमी करेंगे अनुभव साझा

देश की 75 वेटलैंड साइट के प्रतिनिधि और प्रकृति प्रेमी करेंगे अनुभव साझा

इंदौर। इंदौर देश का एकमात्र शहर ऐसा है, जिसे सात बार स्वच्छता का अवार्ड मिलने के साथ दो वेटलैंड (आर्द्रभूमि) होने का गौरव भी हासिल है। इंदौर की ये दो साइट हैं सिरपुर तालाब और यशवंत सागर। अब इस गौरव को देखने के लिए देश के 75 वेटलैंड साइट के प्रतिनिधियों के साथ यूएन वेटलैंड एजेंसी रामसर कन्वेंशन ऑन वेटलैंड की सेक्रेटरी डॉ. मसुंडा मुंबा भी शामिल होंगी। एक और दो फरवरी को होने वाला यह कार्यक्रम सिरपुर तालाब पर आयोजित होगा। इसमें प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, केन्द्रीय जलवायु परिर्वतन मंत्री अश्विनी चौबे, नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय सहित बड़ी संख्या में देशभर के पर्यावरण प्रेमी जुटेंगे। इसके अलावा 75 वेटलैंड साइट के प्रतिनिधि आयोजन में वेटलैंड को संरक्षित करने को लेकर अपने अनुभव को साझा करेंगे।

बता दें कि इंदौर को साल 2022 में सिरपुर तालाब और यशवंत सागर दो वेटलैंड साइट का गौरव हासिल हुआ, जिसके बाद से दोनों साइट को सहेजने के प्रयास किए जा रहे हैं। विश्वभर में वेटलैंड भूमि को संरक्षित करने के लिए रामसर कन्वेंशन की स्थापना की गई है, जिसका उद्देश्य विश्व के उन क्षेत्रों को सरंक्षित करना है, जहां की वनस्पति, जलवायु, पर्यावरण, विदेशी पक्षी को आकर्षित कर विश्व परिस्थिति तंत्र को मजबूत बनाने के लिए आवश्यक है। देशभर में 75 वेटलैंड भूमियां हैं। मध्यप्रदेश में वर्तमान में भोपाल का बड़ा तालाब, शिवपुरी की साख्य सागर झील, इंदौर के सिरपुर तालाब और यशवंत सागर तालाब हैं। रविवार को कार्यक्रम की तैयारियों को लेकर महापौर पुष्यमित्र भार्गव, कलेक्टर आशीष सिंह और निगम आयुक्त हर्षिका सिंह सहित एमआईसी सदस्यों ने दौरा किया।

विदेशी पक्षियों की बदौलत इंदौर को मिला वेटलैंड का दर्जा

महापौर भार्गव ने बताया कि इंदौर जिस तरह से सफाई में नम्बर वन है, उसी तरह यहां का पर्यावरण भी साफ और स्वच्छ है। यही कारण है सिरपुर और यशवंत सागर तालाब दोनों स्थान विदेश पक्षियों की पहली पसंद हैं। शहरवासियों के लिए उससे भी अधिक गौरव पल आगमी 2 फरवरी को होगा, जब विश्व वेटलैंड का मुख्य कार्यक्रम देश के सबसे स्वच्छ शहर की आर्द्रभूमि पर आयोजित होगा। वर्ष 2024 में यूएन की वेटलैंड संबंधी संस्था रामसर कन्वेंशन ऑन वेटलैंड ने इंदौर को इस विश्व स्तरीय आयोजन के लिए चुना है। 2 फरवरी को मुख्य कार्यक्रम सिरपुर तालाब के पास स्थित अमृत गार्डन में होगा।

पद्श्री भालू मोंढे बोले- दुर्भाग्य है कि बच्चों को वेटलैंड क्या है पता नहीं

इंदौर के बर्ड और नैचर लवर पद्मश्री भालू मोंढे ने बताया कि मैं 35 साल से सिरपुर और यशवंत सागर पर विदेशी पक्षियों की नैचर की फोटोग्राफी कर रहा हूं। अब इंदौर को चाहिए कि दोनों वेटलैंड सिरपुर और यशवंत सागर दोनों के महत्व के बारे में स्कूली बच्चों को शिक्षित करने आवश्यकता है। यहां विदेश पक्षी के आने का अपना महत्व है, लेकिन बच्चों को यह भी पता होना चाहिए जो हनी उनकी टेबल पर खाने के लिए रखा वो कैसे बना, मधुमक्खी का पर्यावरण के पारिस्थितिक में क्या योगदान है, बटर μलाय क्या करती है, उसका प्रकृतिक आवास कैसा उसके लिए क्या जरूरी है, कौनसी वनस्पति हमारे आसपास है।