पीएम आवास:7 सौ करोड़ से हुई 525 की, इसमें भी मिले महज 91 करोड़

पीएम आवास:7 सौ करोड़ से हुई 525 की, इसमें भी मिले महज 91 करोड़

जबलपुर। प्रधानमंत्री आवास योजना के नाम पर शहर को सपना दिखाया गया था कि 2023 तक 1 लाख आवास तैयार किए जाएंगे। इस योजना के साथ सरकार ने कैसा मजाक किया है कि बनने वाले बहुमंजिला आवास जिन्हें पहले चरण में 8400 तैयार होना था के लिए जरूरी 700 करोड़ की योजना को समेट कर 525 करोड़ किया गया और इसमें से मात्र 91 करोड़ की राशि 6सालों में आवंटित की गई है। जो कि 18 फीसदी भी नहीं होती। नतीजतन नगर निगम एक ही साइट मोहनिया में बहुमंजिला आवास तैयार कर पाया है।

6 साइट पर बहुमंजिला आवासों का काम चल रहा है जिनमें से ज्यादातर प्लिंथ लेवल से आगे नहीं बढ़ पाए हैं। हर जगह राशि का रोड़ा आ रहा है। नगर निगम ने 5088 आवासों के निर्माण का कार्य शुरू किया था। इन आवासों की बुकिंग के लिए भी विशेष प्रयास व प्रचार न होने के कारण जो 10 फीसदी राशि बुकिंग में आ जाती वह भी नहीं आई,नतीजतन एकाध साइट छोड़कर बाकी सब जगह काम प्लिंथ भरने के आगे नहीं बढ़ पाया।

कीमत बढ़ती जा रही

नगर निगम द्वारा बनवाए जा रहे एलआईजी आवास जिनका एरिया 650 वर्ग फीट है की शुरूआती कीमत 14.60 लाख है। वहीं 800 वर्गफीट के एमआईजी आवास की कीमत 17.40 लाख है। 3 साल की अवधि बीतने के बाद इनकी कीमत बढ़ गई है और अब ननि एलआईजी आवास के 15.24 लाख व एमआईजी के 18.30 लाख कीमत ले रहा है। ईडब्ल्यूएस आवास की कीमत में विशेष वृद्धि नहीं की गई है।

2023 तक शहर में 1 लाख मकान बनाकर देने का था दावा

योजना जब शुरू हुई थी तब दावा किया गया था कि शहरी क्षेत्र में 5 साल में यानि 2023 तक 1 लाख बहुमंजिला आवास तैयार किए जाएंगे। दावे के अनुरूप नगर निगम काम नहीं कर पाया है। इसमें केन्द्र व राज्य से मिलने वाली आर्थिक सहायता भी नहीं मिली है और नगर निगम भी आवासों की बुकिंग नहीं करवा पाया।

उपलब्ध संसाधनों के आधार पर पीएम आवास का काम जारी है। जिस क्रम में राशि आ रही है आवासों का काम जारी है। हमने मोहनिया में 48 आवासों की बहुमंजिला भवन तैयार कर लिया है। हितग्राहियों में पीएम आवास के प्रति रुझान बढ़ा है। ननि 6 अलग-अलग साइटों पर बहुमंजिला भवन बना रही है। सुनील दुबे, पीएम आवास प्रभारी,ननि