मनरेगा: अक्टूबर में 1600 पंचायतों में मजदूरी नहीं, इस साल सिर्फ 13% काम
भोपाल। छतरपुर जिले के चंद्रनगर निवासी हलकाई अहिरवार को अक्टूबर माह में मनरेगा के अंतर्गत काम नहीं मिला। यही हाल नरसिंहपुर की आशा प्रजापति का है। ये समस्या प्रदेश के लाखों मजदूरों की है। चुनावी साल में मनरेगा में इस साल अभी तक 13 फीसदी काम ही पूरे हुए हैं जबकि पहले 90 प्रतिशत से अधिक कार्य पूर्ण होना बताए गए। अक्टूबर में 1640 पंचायतों में एक भी मानव दिवस सृजित नहीं किए गए, यानी किसी मजदूर को काम नहीं मिला जबकि 6 नवंबर तक 22992 पंचायतों में एक भी मजूदर को काम नहीं मिला। दरअसल, मप्र में विस चुनाव से दो दर्जन प्रमुख विभागों के कार्य प्रभावित हो रहे हैं। सबसे ज्यादा काम मनरेगा के प्रभावित हुए हैं। अगर हम 100 दिन के रोजगार की बात करें तो इस साल 27,573 परिवारों को काम मिला जबकि चुनावी साल 2018-19 में यह आंकड़ा 76,745 था।
वर्ष कार्य प्रारंभ कार्य पूरे अपूर्ण प्रतिशत
2021-22 12.12 9.98 2.14 82.34
2022-23 7.89 5.58 2.31 70.71
2023-24 2.20 28,779 1.91 13.04
वर्ष 2023-24 में मजदूरों का भुगतान रुका
- 26 लाख अकुशल श्रमिकों का 29.76 करोड़
- 98 लाख अर्द्धकुशल श्रमिक 19 करोड़
- सामग्री 351.95 करोड़
इस साल मजदूरों को काम मिलने का यह हाल
नवंबर में: 2,51,604
अक्टूबर में: 14,95,479
सितंबर में: 12,57,123
सौ दिन का काम मिला: 27,573 परिवार
कुल पंजीकृत मजदूर: 87.60 लाख।
सरपंच बोले- सभी काम बंद : बैतूल जिले के चिचौली जनपद के ग्रापं बेला के सरपंच चुहिया लाल धुर्वे ने बताया कि आचार संहिता से काम बंद हैं। मजदूर खेतीकिसा नी में लगे हैं।
चुनावी साल 2018 में 6 लाख 97 हजार काम शुरू हुए थे
2018-19 में 6 लाख 97 हजार काम प्रगतिरत थे जिसमें से डेढ़ लाख से ज्यादा में कोई प्रगति नहीं हुई। इस साल 100 दिन का काम भी ज्यादा परिवारों को मिला था।
2023 : 2.20 लाख काम खोले पर 28 हजार ही पूरे
मनरेगा में वर्ष 2023-24 में कुल 2.20 लाख काम खोले गए, परन्तु अब तक सिर्फ 28 हजार काम पूरे हो सके हैं और 1.91 लाख अपूर्ण हैं। इस साल के काम पूरे होने का प्रतिशत 13 है। जल संसाधन, लोनिवि,पीएचई सहित बड़े प्रोजेक्ट चल रहे हैं।
विभाग प्रमुखों ने यह कहा
मनरेगा: ऑन गोइंग वर्क चल रहे। अभी मीटिंग में हूं। - एस कृष्णा चेतन्य, आयुक्त
जल संसाधन: चुनाव के चलते नए काम मंजूर नहीं। -शिशिर कुशवाह, ईएनसी
जल निगम: चुनाव का असर नहीं, काम ठेकेदार कर रहे हैं। -बालागुरु, अतिरिक्त प्रबंध संचालक