सूखी ब्रेड, टॉयलेट के नल के पानी के सहारे जिंदा हैं भारतीय
मांडया। सूडान में सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच गोलीबारी और बमबारी के बीच 100 से अधिक भारतीयों के फंसे होने का अनुमान है। इन लोगों की एक बड़ी संख्या होटल के कमरों या घरों में खाने-पीने की किल्लत से जूझ रहे हैं। कर्नाटक के मांड्या जिले के नागमंगला के मूल निवासी संजू ने एक समाचार चैनल को बताया, हम उस होटल में रह रहे हैं जिसके कर्मचारी संघर्ष शुरू होते ही पांच दिन पहले यहां से जा चुके हैं। हम बचे हुए ब्रेड के टुकड़े और शौचालय के नल के पानी पर जीवित हैं। फिलहाल इस एक कमरे में हम दस लोग रह रहे हैं। अल-फशीर में फंसे प्रभु एस ने कहा हम फिल्मों में दिखने वाली गोलीबारी और बमबारी से कहीं ज्यादा खतरनाक हालत में फंसे हैं। हम यहां 31 लोग हैं।
मृतकों की संख्या 198 हुई
अफ्रीकी देश सूडान की सेना और रैपिड सपोर्ट फोर्सेज के बीच संघर्ष में मृतकों की संख्या बढ़कर 198 हो चुकी है, जबकि 1,207 लोग घायल हुए हैं। यह जानकारी सूडानी डॉक्टरों की गैर-सरकारी केंद्रीय समिति ने गुरुवार को दी। संयुक्त राष्ट्र ने अपनी पिछली रिपोर्ट में कहा था कि देश में 185 लोग मारे गए और 1,800 घायल हुए। सूडान की राजधानी खार्तूम और देश के अन्य हिस्सों में शनिवार को सूडानी सेना और आरएसएफ के बीच झड़पें हुईं।
स्थिति तनावपूर्ण, भारतीयों की सुरक्षा पर है ध्यान
विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत हिंसा प्रभावित सूडान में उभरती स्थिति पर बेहद करीबी नजर रखे हुए हैं, जहां लड़ाई जारी है और स्थिति तनावपूर्ण है तथा भारतीय नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए वह अमेरिका, ब्रिटेन, सऊदी अरब, मिस्र सहित विभिन्न देशों के साथ करीबी समन्वय कर रहा है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा, चार-पांच दिनों के बाद भी संघर्ष कम नहीं हुआ है, लड़ाई जारी है और स्थिति तनावपूर्ण है। ऐसे में हम भारतीयों से आग्रह करते हैं कि वे जहां हैं, वहीं पर रहें और बाहर न निकलें। उन्होंने कहा, हम सूडान के घटनाक्रम पर बेहद करीबी नजर रख रहे हैं। सूडान में भारतीय दूतावास औपचारिक, अनौपचारिक माध्यम से भारतीय समुदाय के साथ सम्पर्क में है।