अष्टमी पर महागौरी की पूजा-अर्चना के साथ हुए हवन व कन्या भोज

अष्टमी पर महागौरी की पूजा-अर्चना के साथ हुए हवन व कन्या भोज

ग्वालियर। चैत्र नवरात्रि के आठवें दिन बुधवार को अष्टमी के अवसर पर श्रद्धालुओं ने मां महागौरी की पूजा-अर्चना कर हवन के बाद कन्या पूजन और कन्या भोज के आयोजन किए। शोभन योग में दोपहर 12.13 बजे तक कन्या पूजन का शुभ मुहूर्त था। अष्टमी तिथि से शुरु हुआ हवन, कन्या भोजन व प्रसादी का सिलसिला नवमीं को मां सिद्धिदात्री की पूजन के साथ समाप्त होगा।

बुधवार को अष्टमी के अवसर पर सभी माता मंदिरों में तड़के से ही श्रद्धालुओं की भीड़ पहुंचने लगी थी। मां के भक्तों ने इस दौरान माता की भक्ति कर विशेष आराधना की। सांतऊ स्थित शीतला माता के मंदिर पर श्रद्धालुओं की भीड़ के कारण पैर रखने को जबह नहीं थी। श्रद्धालु वहां रात को ही पहुंचने लगे थे। हालत यह थी कि चार पहिया वाहन वालों को 2-3 किमी दूर ही अपने वाहन खड़े कर पैदल मंदिर तक जाना पड़ा। अन्य माता मंदिरों में भी जबरदस्त भीड़ के कारण श्रद्धालुओं को माता के दर्शन करने के लिए कतार में लगकर इंतजार करना पड़ा।

आज धूमधाम से मनाई जाएगी राम नवमी

गुरुवार को नवरात्र के अंतिम दिन नवमीं को मां सिद्धिदात्री की पूजन के साथ भगवान विष्णु के सातवें अवतार मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम का जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया जाएगा। इस अवसर पर मंदिरों में विशेष पूजन व अनुष्ठान किए जाएंगे। दोपहर 12 बजे अभिजीत मुहूर्त में मंदिरों में भगवान राम की महाआरती की जाएगी। बालाजी धाम काली माता मंदिर के ज्योतिषाचार्य डॉ. सतीश सोनी के अनुसार भगवान श्रीराम का जन्म इस बार 5 अनोखे शुभ संयोग में गुरुवार को मनाया जाएगा। इस दिन पुनर्वसु नक्षत्र रात 10.59 बजे तक रहेगा। गुरुवार को पुनर्वसु नक्षत्र होने से सिद्धि योग और पुष्य नक्षत्र होने से शुभ नाम का योग बनेगा। साथ ही इस दिन सर्वसिद्धि योग, रवि योग और अमृत सिद्धि योग भी रहेंगे। इतने शुभ योग एक साथ होने से रामनवमी पर्व का महत्व बढ़ गया है, क्योंकि भगवान राम का जन्म दोपहर में हुआ था। इसलिए इस बार रामलला का जन्मोत्सव अभिजीत मुहूर्त में दोपहर 11.17 से दोपहर 1.46 बजे तक मनाना सर्वश्रेष्ठ रहेगा।

गुरु पुष्य नक्षत्र में मनेगी रामनवमी

ज्योतिषाचार्य डॉ हुकुमचंद जैन ने बताया कि कि गुरुवार को रामनवमी का पर्व गुरु पुष्य नक्षत्र में मनाया जाएगा। इस दिन पुनर्वसु नक्षत्र भी है, जिसमें भगवान श्री राम का जन्म हुआ था। उन्होंने बताया कि नवमीं तिथि बुधवार रात 9.07 बजे से गुरुवार रात 11.30 बजे तक रहेगी। राम नवमी पूजन का शुभ मुहूर्त गुरुवार सुबह 11.11 से दोपहर 1.41 बजे तक रहेगा।