गौ-वंश पर रिसर्च करने जबलपुर में बनेगी गौ-पीठ

गौ-वंश पर रिसर्च करने जबलपुर में बनेगी गौ-पीठ

जबलपुर। प्रदेश की एक मात्र वेटरनरी साइंस यूनिवर्सिटी में गौ-पीठ बनने के बाद यहां पर प्राचीन और नवीन भारतीय मूल प्रजातियों की गायों को लेकर अनुसंधान कार्यों के साथ गौ-वंश से मिलने वाले उत्पाद और दूध को लेकर भी रिसर्च होगी।

वेटरनरी विवि को ही क्यों चुना

बताते हैं कि गौ-पीठ उन विश्वविद्यालयों में बनाई जानी है, जो कि राष्ट्रीय स्तर पर गौ-वंश के संवर्धन और संरक्षण के लिए काम कर रहे हैं। ऐसे में वेटरनरी यूनिवर्सिटी ने एम्ब्रियो ट्रांसफर टेक्नीक जैसे रिसर्च काम कर अवर्णित गायों की कोख से साहीवाल के बच्चों का जन्म कराने में सफलता पाई है। लिहाजा विवि को इसके लिए चुना गया है।

इन्फ्रास्ट्रक्चर तैयार है

बताया जाता है कि इस पीठ के लिए विवि के आधारताल स्थित प्रशासनिक भवन परिसर में इन्फ्रास्ट्रचर तैयार है। स्थापना के बाद यह तय होना है कि कितने वेटरनरी के छात्र इसमें रिसर्च कर सकेंगे।

भारतीय मूल की प्रजातियों की गायों पर अनुसंधान के लिए इस पीठ (काउ चेयर) को तैयार करने का प्रस्ताव बनाया गया है। जल्द ही इसकी स्थापना कर दी जाएगी। -अखिलेश्वरानंद गिरी अध्यक्ष कार्य परिषद मप्र गौ संवर्धन बोर्ड

विवि ने गौ-पीठ के लिए प्रस्ताव तैयार कर लिया है। इसे विवि के बोर्ड से पारित भी करा लिया गया है। गौ-संवर्धन बोर्ड के सहयोग से यह पीठ संचालित होगी। इसमें गौ-वंश पर ही रिसर्च की जाएंगी। -प्रो. डॉ. एसपी तिवारी कुलपति वीयू