फिच ने अमेरिका को दिया झटका, रेटिंग AAA से घटाकर AA+ की
वाशिंगटन। जून महीने में डिफॉल्ट होने से किसी तरह बचने वाले अमेरिका की रेटिंग को रेटिंग एजेंसी फिच ने डाउनग्रेड कर दिया है। रिपोर्ट के मुताबिक, फिच रेटिंग्स ने पिछले दो सालों में ‘खराब शासन मानकों’ और बढ़ते संघीय, राज्य और स्थानीय ऋण का हवाला देते हुए अमेरिकी सरकार की रेटिंग को डाउनग्रेड कर AAA से घटाकर AA+ कर दिया है। रेटिंग का डाउनग्रेड होना अमेरिका के लिए बहुत बड़ा झटका है, जो बताता है, जो बाइडेन का प्रशासन अभी तक कोविड संकट के बाद अमेरिका की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने में नाकाम रहा है।
रेटिंग कम होने का मतलब क्या है?
अमेरिका की रेटिंग कम होने का मतलब है कि दुनियाभर की अर्थव्यवस्था में जोखिम अभी बना हुआ है। नई रेटिंग से पता चलता है, कि राजनीतिक ध्रुवीकरण बढ़ रहा है और वाशिंगटन में बार-बार खर्च और व्यय में गतिरोध, कैसे संयुक्त राज्य अमेरिका के लोगों के लिए महंगा हो सकता है। इसके साथ ही, अमेरिकी अर्थव्यवस्था के विशाल आकार और केंद्र सरकार की ऐतिहासिक स्थिरता ने इसकी लागत कम रखी है। ज्ञात हो कि आर्थिक संकट के समय अंतर्राष्ट्रीय निवेशक अकसर अमेरिका में निवेश करने के लिए भागते हैं, जिससे अमेरिकी सरकार द्वारा भुगतान की जाने वाली ब्याज दर कम हो जाती है।
अमेरिका के इतिहास में दूसरी बार
अमेरिका के इतिहास में यह केवल दूसरी बार है, जब क्रेडिट स्कोर में कटौती की गई है। सरकारी ऋण पर विवाद के बाद, रेटिंग एजेंसी स्टैंडर्ड एंड पूअर्स ने 2011 में अमेरिका की रेटिंग घटाकर AAA कर दी थी। संघीय जांच ब्यूरो की 2012 की एक रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है, कि खराब ऋण ने 2011 में ऋण राशि में 1.3 बिलियन डॉलर की वृद्धि की है।
24 मई को जारी की थी चेतावनी
फिच ने 24 मई को चेतावनी दी थी कि सरकार की ट्रिपल-ए रेटिंग को हटाया जा सकता है, क्योंकि इस दिन अमेरिकी कांग्रेस ने देश को डिफॉल्ट होने से बचाने के लिए बाइडेन प्रशासन को खर्च बढ़ाने के लिए और ऋण लेने को मंजूरी दे दी थी।इसके लगभग एक सप्ताह बाद, ऋण लेने की सीमा पर लगे प्रतिबंध को बढ़ाने और अगले दशक में संघीय राजस्व को 1.5 ट्रिलियन डॉलर तक कम करने पर एक समझौता हुआ था।
जर्मनी, डेनमार्क समेत इन देशों को हाई रेटिंग
दुनिया में कुछ ही देश ऐसे हैं, जिन्हें इन रेटिंग एजेंसियों ने टॉप रेटिंग दे रखी है। इनमें जर्मनी, डेनमार्क, नीदरलैंड्स, स्वीडन, नॉर्वे, स्विट्जरलैंड, लक्जमबर्ग, सिंगापुर और ऑस्ट्रेलिया शामिल हैं। कनाडा को दो एजेंसियों ने AAA रेटिंग दे रखी है। फिच ने कनाडा को AA+ रेटिंग दे रखी है। AAA को प्राइम रेटिंग और AA+ को हाई रेटिंग माना जाता है।
भारत को दी गई रेटिंग
जहां तक भारत का सवाल है तो एसएंडपी और फिच ने भारत को BBB- रेटिंग दे रखी है। इसी तरह मूडीज ने भारत को B3 रेटिंग दे रखी है।