कल मतगणना :चुस्त-दुरुस्त प्रशासनिक इंतजाम, केन्द्र पर अवांछित व्यक्ति नहीं ले जा सकेगा केलकुलेटर
इंदौर। जिले की 9 विधानसभाओं के प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला कल 3 दिसम्बर को होगा। मतगणना के लिए जिला प्रशासन ने सारी व्यवस्थाएं पूरी कर ली हैं। शुक्रवार 1 दिसम्बर को कलेक्टर ने मतगणना केन्द्र नेहरू स्टेडियम और वहां तैयार किए गए स्ट्रांग रूम के अधिकारियों के साथ सूक्ष्म निरीक्षण किया। इसके पश्चात पत्रकार वार्ता में कहा कि केन्द्र में मतगणना कर्मी के अलावा कोई भी अवांछित व्यक्ति केलकुलेटर आदि नहीं ले जा सकेगा। केवल अधिकृत पासधारकों को ही प्रवेश दिया जाएगा। केन्द्र में सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद रहेंगी। निर्वाचन से जुड़ी सूचनाएं प्रेक्षकों, राजनीतिक दलों, अभ्यर्थियों, मीडिया और जनसामान्य को देते रहें, जिससे किसी भी प्रकार की असत्य या भ्रामक सूचनाएं प्रसारित न हों। किसी भी प्रकार की संवादहीनता की स्थिति नहीं रहनी चाहिए।
सदस्य नहीं बन सकेंगे मतगणना एजेंट- मतगणना के दिन कोई भी ऐसा व्यक्ति, जिसको केंद्र अथवा राज्य सरकार द्वारा सुरक्षा उपलब्ध कराई गई है, साथ ही केंद्र और राज्य के मंत्री, सांसद, विधायक, महापौर, जिला पंचायत, जनपद पंचायत, नगर पंचायत, नगर निगम के अध्यक्ष, सार्वजनिक उपक्रमों के अध्यक्ष, प्राधिकरण अध्यक्ष, आंगनवाड़ी कर्मचारी, पैरामेडिकल स्टॉफ, शासकीय उचित मूल्य दुकानों के डीलर्स और शासकीय सेवक मतगणना के लिए किसी भी अभ्यर्थी के एजेंट नियुक्त नहीं किए जा सकेंगे।
खर्च भी खाते में होंगे शामिल-राजनीतिक गतिविधियों की निगरानी हेतु वीडियो सर्वेलेंस टीम को निर्देशित किया गया है। परिणाम घोषित होने तक निर्वाचन के दौरान प्रत्येक अभ्यर्थी स्वयं, उनके निर्वाचन एजेंट द्वारा चुनाव संबंधी व्ययों, मतदान, मतगणना दिवस को एजेंटों और प्रचार कार्यकर्ताओं के लिए भोजन और जलपान पर किए गए खर्च भी खाते में शामिल किए जाएंगे।
मतगणना के लिए प्रेक्षकों की नियुक्ति- देपालपुर के लिए अनिल सालगोत्रा, इंदौर-1 के लिए आलोक पाण्डे, इंदौर-2 के लिए अरविंद पाल सिंह संधु, इंदौर-3 के लिए महिमापत राय, इंदौर-4 के लिए विजय पाल सिंह, इंदौर-5 के लिए अशोक सिंह, महू के लिए वीजे राजपूत, राऊ के लिए अमित खत्री तथा सांवेर के लिए अश्विनी मिश्रा प्रेक्षक रहेंगे।
ये दिए निर्देश
- पोस्टल बैलेट की गिनती की प्रक्रिया सारे नॉर्म्स एवं प्रोटोकॉल्स का अक्षरश: पालन करें।
- गिनती शुरू करने के आधा घंटा बाद ही ईवीएम के मतों की गणना प्रारंभ की जाए।
- गणना के लिए मतगणनाकर्मियों और माइक्रो ऑब्जवर्स को प्रशिक्षित करें।
- मतगणना स्थल की सुरक्षा में किसी भी स्तर पर कमी न रहे।
- केन्द्र में सीसीटीवी कैमरों की पर्याप्त व्यवस्था रहे।
- मतगणना के दिन रेंडमाइजेशन से लेकर विजयी अभ्यर्थियों को निर्वाचन प्रमाण-पत्र वितरित किए जाने तक पारदर्शिता बनी रहे।