चंबल से पानी लाने की बिड खोली, टेंडर 376 के होने पर ऑफर 488.8 करोड़ का
ग्वालियर शहर में वर्ष 2055 के हिसाब से जरूरत के लिए पानी लाने योजना की कवायद तेज हो गई है। यही कारण है कि चंबल से पानी लाने के लिए दूसरे चरण में मिले टेंडर में मेसर्स विष्णु प्रकाश पंगुलिया ने फाइनेंशियल बिड में 30 प्रतिशत ज्यादा का ऑफर दिया है, जिसके चलते 376 करोड़ का काम 488.8 करोड़ तक पहुंच गया है। अब निगम अधिकारी काम को देने की स्वीकृति पर मंथन कर जांच कर रही है।
अमृत परियोजना 2 के तहत शासन स्तर से लगभग 926 करोड़ की सैद्धांतिक स्वीकृति की घोषणा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा निकाय चुनाव के दौरान की जा चुकी है। वहीं केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया द्वारा जल्दी से जल्दी चंबल से पानी लाने के प्रयासों के चलते दूसरे चरण में मेसर्स विष्णु प्रकाश पंगुलिया व मेसर्स इनविराड प्रा. लि. ने टेंडर डाले थे, लेकिन टेक्नीकल बिड के खोलने पर मेसर्स इनविराड प्रा. लि. फेल हो गई। जिसके बाद निगम ने मेसर्स विष्णु प्रकाश पंगुलिया की फाइनेंशियल बिड ओपन करने पर कार्य की लागत 376 करोड़ से 30 प्रतिशत ज्यादा यानी 112.8 करोड़ का ऑफर दिया है। जिस पर निगम अधिकारियों द्वारा 30 प्रतिशत ज्यादा सेक्शन देने के लिए मंथन किया जा रहा है।
स्टील के दाम बढ़ने से बढ़ी कीमत
ठेकेदार से जुड़े लोगों की मानें तो पीडब्ल्यूडी के एसओआर में स्टील की दरें पुरानी है और मार्केट में रेट डबल हो गया है, जिसके चलते ठेकेदार ने 30 प्रतिशत ज्यादा फाइनेंशियल बिड में ऑफर दिया है, क्योंकि आगामी समय में भी रेट लगातार बदलने की संभावना है।
आचार संहिता से पहले हो सकता है अनुबंध
टेंडर में मिले ऑफर की जांच कर रहे अधिकारियों की मानें तो निगम की सेक्शन के बाद प्रस्ताव को सीधे भोपाल भेजा जाएगा। जहां तकनीकी समिति व हाईपावर तकनीकी समिति सहित फाइल के वापस ग्वालियर आने पर एमआईसी से स्वीकृति में बमुश्किल 35-40 दिन का समय लगने की संभावना जताई गई है और उसके बाद ठेकेदार से अनुबंध कर लिया जाएगा।
376 करोड़ की राशि के कार्य के लिए निर्धारित है, लेकिन ऑफर राशि के ज्यादा मिलने पर निर्णय के लिए फाइल भोपाल भेजेंगे, वहां से स्वीकृति या टेंडर रिकॉल के निर्देश आने पर आगे के कार्य होंगे। आरके श्रीवास्तव, अपर आयुक्त नगर निगम ग्वालियर