चैटजीपीटी से रोगों की सटीक पहचान, इलाज में सक्षम

रिसर्चर्स ने अध्ययन में किया दावा, रोग की पहचान कर दवा भी बता सकता है यह टूल

चैटजीपीटी से रोगों की सटीक पहचान, इलाज में सक्षम

न्यूयॉर्क। मरीजों की जांच करने व उनके इलाज के बारे में चिकित्सकीय निर्णय लेने में चैटजीपीटी किसी डॉक्टर जितना ही कुशल होता है। बोस्टन, मैसाचुसेट्स स्थित मास जनरल ब्रिघम अस्पताल के रिसर्चर्स ने हाल ही में किए अध्ययन में यह पाया है कि एआई चैटबोट मरीजों के रोग को सटीक तरह से पहचान कर प्राथमिक एवं आपात स्थिति में भी उपचार देने में पूर्णत: सक्षम है। यह पाया गया कि रोगी की जांच कर उसके उपचार के संबंध में सही निर्णय लेने, उसे कौन सी दवाएं व इलाज देना है, यह तय करने में चैटजीपीटी 72 प्रतिशत खरा उतरा है। विशेषज्ञों का अनुमान है कि एक डॉक्टर इस मामले में 95 प्रतिशत सटीक होता है।

इंटर्न जैसा रहा एआई का परफॉर्मेंस :

रिसर्चर्स का कहना है कि अध्ययन में चैटजीपीटी का परफॉर्मेंस मेडिकल के फ्रैश ग्रेजुएट स्टूडेंट जैसे इंटर्न या रेसिडेंट जितना कुशल पाया गया। हालांकि एक पूर्णत: शिक्षित डॉक्टर के द्वारा मर्ज की पहचान में चूक करने की संभावना कम होती है, लेकिन रिसर्चर्स का कहना है कि इस कार्य में चैटजीपीटी के इस्तेमाल से चिकित्सा सुविधा तक लोगों की पहुंच और आसान हो सकती है।

रोग की जांच में 77 प्रतिशत सटीक :

अध्ययन के तहत चैटजीपीटी को 36 मामले सौंपे गए। इन मामलों में उसे मरीजी की उम्र, लिंग, रोग के लक्षण की जानकारी दी गई। इसके बाद उसे कुछ अतिरिक्त सूचनाएं देकर इलाज के बारे में पूछा गया। इसमें यह पाया गया कि एआई का यह नया प्लेटफॉर्म इस मामले में 72 प्रतिशत सटीक है।

एआई मेडिकल साइंस क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन लाएगा। चाहे बात इलाज की हो या डिलिवरी या फिर शोध सभी पर सकारात्मक असर देखने को मिलेगा। हालांकि, आम जन में इसका ज्यादा उपयोग इलनेस एंजाइटी को बढ़ा भी सकता है। - डॉ. सत्यकांत त्रिवेदी वरिष्ठ मनोचिकित्सक