इस साल हेट स्पीच की 255 घटनाएं, सबसे ज्यादा महाराष्ट्र में
यूएस रिसर्च ग्रुप हिंदुत्व वॉच की रिपोर्ट में किया गया खुलासा
नई दिल्ली। हाल ही में एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हेट स्पीच के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। यूएस रिसर्च ग्रुप हिंदुत्व वॉच की रिपोर्ट के अनुसार भारत में 2023 की पहली छमाही में मुसलमानों के खिलाफ नफरती भाषण (हेट स्पीच) के 255 मामले सामने आए। वॉशिंगटन डीसी स्थित इस रिसर्च ग्रुप ने कहा कि इनमें से लगभग 80% नफरत भरे भाषण की घटनाएं भाजपा राज्यों में हुईं। इन भाषणों में से अधिकांश भाजपा शासित राज्यों में दिए गए थे और जिनमें से लगभग 70% ऐसे राज्यों में हुए, जहां या तो 2023 या 2024 में विधानसभा चुनाव होने हैं। बता दें, हिन्दुत्व वॉच भारत में अल्पसंख्यकों के ऊपर होने वाले हमलों की घटनाओं पर नजर रखता है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हेट स्पीच देने की कुल 255 घटनाओं में से 205 यानी 80% घटनाएं भाजपा शासित राज्यों में हुईं। रिपोर्ट में पाया गया कि महाराष्ट्र, कर्नाटक, मध्यप्रदेश, राजस्थान और गुजरात में नफरती भाषणों की सबसे अधिक संख्या देखी गई। अकेले महाराष्ट्र में ऐसी घटनाओं की संख्या 74 रही यानी 29% हेट स्पीच से जुड़ी घटनाएं महाराष्ट्र में हुईं। भाजपा शासित राज्यों जैसे कि कर्नाटक (साल के 6 महीने की अवधि के अधिकांश समय तक भाजपा शासन था), मध्यप्रदेश और गुजरात में 2023 की पहली छमाही में 20 से अधिक हेट स्पीच सभाएं हुईं। सूची में एकमात्र अपवाद राजस्थान था, जो कांग्रेस शासित राज्य है, जहां साल के अंत में चुनाव होने हैं।
रिपोर्ट में चुनावों का जिक्र
- कुल मिलाकर, इनमें से लगभग 70 फीसदी घटनाएं उन राज्यों में दर्ज की गई , जहां या तो 2023 या 2024 में विधानसभा चुनाव होंगे।
- इसके अलावा, इनमें से 36 फीसदी से अधिक घटनाएं उन राज्यों में हुईं, जहां 2024 में विधानसभा चुनाव होने वाले थे।
- मुस्लिम हेट की कम से कम 83 घटनाएं ऐसी हैं, जिसमें उन्होंने मुसलमानों के खिलाफ हिंसा का सीधे आह्वान जारी किया। इसमें मुसलमानों के जातीय सफाए, नरसंहार और मुस्लिम पूजा स्थलों को नष्ट करने के आह्वान शामिल थे।
- 27 मामले ऐसे आए, जिसमें हिंदुओं से मुसलमानों से सामान और सेवाएं न लेने को कहा गया।
विहिप-बजरंग दल ने आयोजित किए कार्यक्रम
रिपोर्ट में इस बात का भी जिक्र है कि जिन कार्यक्रमों में यह नफरत फैलाने वाले भाषण दिए गए थे, उनके आयोजक कौन थे। अध्ययन में पाया गया कि भाजपा शासित राज्यों में लगभग 52 प्रतिशत सभाएं विश्व हिंदू परिषद (विहिप), बजरंग दल, सकल हिंदू समाज और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और भाजपा से जुड़ी संस्थाओं द्वारा आयोजित कार्यक्रम में की गई ।
सभाओं में किया गया था हथियार उठाने का आह्वान
यूएस रिसर्च ग्रुप हिंदुत्व वॉच की रिपोर्ट के अनुसार ऐसी हेट स्पीच वाली सभाओं में से एक तिहाई ( 33 फीसदी) में स्पष्ट रूप से मुसलमानों के खिलाफ हिंसा और 12 फीसदी में हथियार उठाने का आह्वान किया गया था। लगभग 11 फीसदी में मुसलमानों के बहिष्कार के आह्वान हुए थे। अध्ययन में कहा गया है कि ऐसी 4 फीसदी सभाओं में मुस्लिम महिलाओं को निशाना बनाते हुए नफरत भरे और लैंगिक भेदभाव वाले भाषण दिए गए।