25 लाख लोगों ने अंग्रेजी से हिंदी में बदले हस्ताक्षर
इंदौर। की ‘मातृ भाषा उन्नयन’ संस्था की बड़ी पहल, देश और विदेश में चल रही मुहिमइंदौर आज हिंदी दिवस है, लेकिन यह विडंबना ही है कि हमें अपनी ही राष्ट्र भाषा को प्रोत्साहन देने में हिचकिचाहट महसूस होती है। हम विदेशी भाषाओं को सीखने में जरा भी परहेज नहीं करते। इस द्वंद्व के बीच, इंदौर की ‘मातृ भाषा उन्नयन’ संस्था लोगों को हिंदी का अधिक से अधिक उपयोग करने के लिए प्रेरित कर रही है।
आज हर कोई अंग्रेजी में हस्ताक्षर करते नजर आता है। यह हस्ताक्षर हिंदी में हो और हिंदी को कैसे हर कार्य में शामिल किया जाए, इसके लिए मातृ भाषा उन्नयन संस्था ने देश भर में 18 हजार 300 हिंदी योद्धा तैयार किए है। उन्होंने देश के 25 लाख लोगों के हस्ताक्षर हिंदी में करवाकर कीर्तिमान भी स्थापित किया है। इस मुहिम के तहत हिंदी के प्रचार के लिए हर शहर में घर जोडेÞ जाते हैं।
2016 में हुई शुरुआत
इसकी शुरुआत की इंदौर के सॉफ्टवेयर इंजीनियर अर्पण जैन ‘अविचल’ ने। उन्होंने 2016 में हिंदी का स्वाभिमान स्थापित करने के लिए यह शुरुआत की। अर्पण ने बताया कि 2017 में कश्मीर जाकर उन्होंने 10 हजार बच्चों की पहली भाषा हिंदी करवाई थी। विदेश में हिंदी का परचम लहराए उसके लिए ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका, दुबई, नेपाल, जर्मनी, ओमान, मॉरीशस में मात्र भाषा उन्नयन की ईकाई शुरू की है। मॉरीशस में सरिता बोद्दो (उप प्रधानमंत्री की पत्नी) भी मात्र भाषा उन्नयन से जुड़ी हैं।